झारखंड के पूर्व सीएम शिबू सोरेन का निधन, 81 साल की उम्र में ली अंतिम सांस
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और झारखंड मुक्ति मोर्चा के संस्थापक शिबू सोरेन का 81 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। शिबू सोरेन लम्बे समय से बीमार चल रहे थे। वो डायबिटीज, किडनी और हृदय रोग से पीड़ित थे, और उनकी बायपास सर्जरी भी हो चुकी थी। उनके निधन की खबर से पूरे झारखंड में शोक की लहर दौड़ गई;
झारखंड के पूर्व सीएम शिबू सोरेन का निधन
रांची : झारखंड के पूर्व सीएम और जेएमएम के संस्थापक शिबू सोरेन का निधन हो गया। सोरेन के निधन का समाचार सुनते ही सियासी गलियारों में शोक की लहर दौड़ गई है। वो झारखंड के मौजूदा सीएम हेमंत सोरेन के पिता थे। सोरेन का अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किया जाएगा। तो कैसा रहा शिबू सोरेन का राजनीतिक करियर और क्या थी उनके निधन की वजह ? जानेंगे इस बारे में।
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और झारखंड मुक्ति मोर्चा के संस्थापक शिबू सोरेन का 81 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। शिबू सोरेन लम्बे समय से बीमार चल रहे थे। वो डायबिटीज, किडनी और हृदय रोग से पीड़ित थे, और उनकी बायपास सर्जरी भी हो चुकी थी। उनके निधन की खबर से पूरे झारखंड में शोक की लहर दौड़ गई। शिबू सोरेन, जिन्हें 'दिशोम गुरु' के नाम से जाना जाता था, मौजूदा मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के पिता थे। उनके निधन की खबर मिलते ही जेएमएम के तमाम नेता और समर्थक उनके आवास पर जुटने लगे हैं।
शिबू सोरेन को राजकीय सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी जाएगी। 11 जनवरी 1944 को जन्मे सोरेन ने तीन बार झारखंड के मुख्यमंत्री के रूप में कार्य किया। उन्होंने 1973 में जेएमएम की स्थापना की, जिसका उद्देश्य तत्कालीन बिहार के पूर्वी और दक्षिणी हिस्सों को मिलाकर अलग झारखंड राज्य बनाना था। यह लक्ष्य 2000 में पूरा हुआ। सोरेन ने औद्योगिक और खदान मजदूरों व अल्पसंख्यकों का समर्थन हासिल कर जेएमएम का आधार मजबूत किया और 1987 में इसके अध्यक्ष बने। सोरेन ने राष्ट्रीय और राज्य स्तर पर सक्रिय राजनीति की। सोरेन ने 1980, 1989, 1991, 1996 और 2004 में लोकसभा चुनाव जीता और 2002 में राज्यसभा के लिए चुने गए। 2020 में वे फिर से राज्यसभा सदस्य बने। उनके योगदान को झारखंड में हमेशा याद किया जाएगा।